tag:blogger.com,1999:blog-372849429947329630.post5989204117994904867..comments2024-02-21T09:02:29.848-08:00Comments on Hindi Sahitya Vimarsh: राम विलास शर्मा की रचनाएँUnknownnoreply@blogger.comBlogger2125tag:blogger.com,1999:blog-372849429947329630.post-31740019076482909772014-09-12T11:01:19.589-07:002014-09-12T11:01:19.589-07:00हिन्दी के जीवनीपरक उपन्यास
‘भारती का सपूत'— ड...हिन्दी के जीवनीपरक उपन्यास<br /><br />‘भारती का सपूत'— डॉ. रांगेय राघव (भारतेन्दु हरिश्चन्द्र पर, हिन्दी में प्रथम जीवनीपरक उपन्यास, 1954, प्रथम संस्करण), <br />‘रत्ना की बात' — डॉ. रांगेय राघव (तुलसी के जीवन पर, 1957, द्वितीय संस्करण) <br />‘लोई का ताना'— डॉ. रांगेय राघव (कबीर के जीवन पर, 1954)<br />‘मानस का हंस'— अमृतलाल नागर (तुलसीदास के जीवन पर, 1972)<br />‘लखिमा के आंखें'— डॉ. रांगेय राघव (द्यापति के जीवन पर, 1974, द्वितीय संस्करण) ‘मेरी भव बाधा हरो'— डॉ. रांगेय राघव (बिहारी के जीवन पर, 1976, द्वितीय संस्करण)<br />‘धूनी का धुंआं'— डॉ. रांगेय राघव (गोरखनाथ के जीवन पर, 1978, द्वितीय संस्करण) ‘यशोधरा जीत गई है'— डॉ. रांगेय राघव (गौतम बुद्ध के जीवन पर)<br />‘देवकी का बेटा— डॉ. रांगेय राघव (कृष्ण के जीवन पर)<br />‘आवारा मसीहा'— विष्णु प्रभाकर (शरत् चन्द्र की जीवनी, 1974)<br />‘खंजन नयन'— अमृतलाल नागर (सूरदास के जीवन पर, 1981)<br />‘पहला गिरमिटिया'— गिरिराज किशोर (महात्मा गांधी के जीवन पर, 1999)<br />‘सूत्रधार'— संजीव (भिखारी ठाकुर पर, 2003) <br />‘तोड़ो कारा तोड़ो'— (विवेकानंद के जीवन पर आधारित उपन्यास, निर्माण-1992, साधना-1993, परिव्राजक-2003, निर्देश-2004, सन्देश-2004, नरेंद्र कोहली)<br />‘विवेकानंद'— राजेन्द्र मोहन भटनागर (जीवनीपरक उपन्यास)<br />‘सनातन पुरुष'— डॉ. राजेंद्र मोहन भटनागर (महर्षि अरविंद पर)<br />‘युगपुरुष अंबेडकर'— राजेन्द्र मोहन भटनागर<br />ugcvastunishthhindi sahityahttps://www.blogger.com/profile/15879201435927486310noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-372849429947329630.post-54837513568072615872014-05-24T07:53:38.506-07:002014-05-24T07:53:38.506-07:00मैत्रेयी पुष्पा के अब तक 11 से अधिक उपन्यास छप चुक...मैत्रेयी पुष्पा के अब तक 11 से अधिक उपन्यास छप चुके हैं- स्मृतिदंश (1990), बेतवा बहती रही (1993), इदन्नम (1994), चाक (1997), झूलानट (1999), अल्मा कबूतरी (2000), अगनपाखी (2001), विज़न (2002), कहे ईसुरीफाग (2004), त्रिया हठ (2004), गुनाह-बेगुनाह इत्यादि।<br />अल्मा कबूतरी (2000) मैत्रेयी पुष्पा का मशहूर उपन्यास है। कबूतरा एक जनजाति का नाम है। ugcvastunishthhindi sahityahttps://www.blogger.com/profile/15879201435927486310noreply@blogger.com