(जन्म : 7 मार्च,
1911 कुशीनगर, देवरिया,
उ. प्र. – मृत्यु
: 4 अप्रैल, 1987 नई दिल्ली)
#नाम : #सच्चिदानंद वात्स्यायन
#बचपन का नाम : #सच्चा
#ललित निबंधकार नाम : #कुट्रिटचातन
रचनाकार नाम :
#अज्ञेय (#जैनेद्र और
#प्रेमचंद का दिया
नाम है)।
#अज्ञेय #प्रयोगवाद एवं
#नई कविता को
साहित्य-जगत् में #प्रतिष्ठित करने वाले कवि, प्रयोगधर्मी साहित्यकार। अज्ञेय के विषय में यह कहा जाता है
कि, वह #'कठिन काव्य के प्रेत हैं'।
#पहला कहानी :# जिज्ञासा (1935,
ई.)
#पहला कहानी-संग्रह : विपथगा (1932
ई.)
#अंतिम कहानी हज़ामत का साबुन (1959)
#अधूरी कहानी : गृहत्याग (1932 ई., विपथगा में संकलित)
कहानी-संग्रह
- #विपथगा (1937),
भारतीय भड़ार, लीडर प्रेस इलहाबाद
- #परंपरा (1944),
सस्वती प्रेस, बनारस
- #अमर वल्लरी और अन्य कहानियाँ, सस्वती प्रेस,
बनारस
- #कड़ियाँ तथा अन्य कहानियाँ, सस्वती प्रेस,
बनारस
- #कठोरी की बात (1945),
प्रतीक
प्रकाशन, दिल्ली
- #शरणार्थी (1948),
शारदा
प्रकाशन, बनारस
- #जयदोल (1951)
प्रतीक
प्रकाशन, दिल्ली
- #ये तेरे प्रतिरूप (1961), राजपाल एंड संज,
दिल्ली
- जिज्ञासा एवं अन्य कहनियाँ (1965 ई.)
- #संपूर्ण कहानियाँ (दो खंडों में, 1975), राजपाल एंड संज,
दिल्ली
1मशहूर
कहानियां
विपथगा (वार्तालाप-शैली), कविप्रिया
(वार्तालाप-शैली में), सांप, धीरज
और पठार का धीरज (तीनों प्रतीकात्मक शैली में), हीली
बोन की बत्तखें, मेजर चौधुरी की वापसी (दोनों मनोविश्लेषण-प्रधान शैली
में), देवी
(व्यंग्यप्रधान-शैली में), खित्तीन बाबू (रेखाचित्र या संस्मरण शैली), पगोडा
वृक्ष, अकलंक, कड़िया, पुलिस
की सीटी (नाटकीय शैली), द्रोही, मनसो, अमरबल्लारी
(आत्मकथात्मक शैली), शरणदाता, मुस्लिम-मुस्लिम
भाई-भाई, बदला, रमंते
तत्र देवता, नारंगियां (देश-विभाजन-संबंधी कहानियां) गैंग्रीन (रोज़), हारीति, छाया, क्षमा, दारोगा
अमीचंद, अलिखित
कहानी, शांति
हंसी थी, शत्रु, पुरुष
का भाग्य, कोठरी
की बात, सिगनेलर, पुलिस
की सीटी, चिड़ियाघर, पठार
का धीरज इत्यादि अज्ञेय की मशहूर कहानियां हं।
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